पूर्णिया : जनसंख्या नियंत्रण को रोकने के लिए महिलाओं का शिक्षित होना जरुरी



विश्व जनसंख्या दिवस पर पूर्णियां डाक्टर्स केयर एसोसिएशन की तरफ से एक्टिविटी जोन में एक पैनल डिस्कशन का आयोजन किया गया। इसमें एशोसियेशन के संयोजक डा मुकेश कुमार , शिक्षाविद एवं एंबीशन कोचिंग संस्थान के निदेशक अमित सिन्हा, नेत्र रोग विशेषज्ञ एवं फिजीशियन डॉ शैलेंद्र चंद्र सुमन, डा इम्तियाज भारती ने हिस्सा लिया।

पूर्णियां डाक्टर्स केयर एसोसिएशन के संयोजक डा मुकेश कुमार ने बताया कि जहां विकसित देशों ख़ासतौर से यूरोप के देशों में जनसंख्या वृद्धि दर को बढाने की कवायद है वहीं भारत , चीन , इंडोनेशिया एवं अन्य एशियाई देशों में इस पर नियंत्रण पाना मुश्किल काम है। हाल ही में जनसंख्या के मामले में भारत चीन को पीछे छोड़ विश्व के सबसे बड़ी आबादी वाला देश बन गया है। जनसंख्या वृद्धि की मुख्य वजह औरतों में अशिक्षा और रोजगार की कमी है। एंबिशन कोचिंग संस्थान के निदेशक अमित सिन्हा ने कहा कि भारत में उपलब्ध जमीन विश्व में ढाई प्रतिशत है लेकिन जनसंख्या का अनुपात लगभग  18 से 20 प्रतिशत है जो यहां कि अर्थ-व्यवस्था के लिए घातक है। बेरोजगारी और भूख यहां की सबसे बड़ी समस्या है। बढती हुई आबादी, बेरोजगारी और लचर अर्थ- व्यवस्था की वजह से ही विदेशों की तरफ हमारे शिक्षित युवाओं का रूझान बढने लगा है। उन्होंने कहा कि पूर्णियां डाक्टर्स केयर एसोसिएशन की तरफ से इस महत्वपूर्ण विषय पर पैनल डिस्कशन आयोजित करना काबिले तारीफ है। एसोसिएशन के उपाध्यक्ष डा शैलेश चन्द्र सुमन नेत्र रोग विशेषज्ञ ने कहा कि जनसंख्या वृद्धि दर पर नियंत्रण रखने के लिए लड़कियों और स्त्री को शिक्षित और सबल बनाने की जरूरत है तथा छोटे परिवार को प्रोत्साहित करने के लिए सरकार की तरफ से कुछ लाभकारी योजनाओं में प्राथमिकता देना तथा शहरीकरण को रोकना बेहद जरूरी है। उन्होंने कहा कि आर्थिक सुविधा प्रदान कर परिवार नियोजन कार्यक्रम को सशक्त बनाया जाना चाहिए।  एसोसिएशन के सक्रिय सदस्य डा इम्तियाज भारती ने कहा कि यह बेहद जरूरी है कि हम सभी जनसंख्या पर शीघ्र नियंत्रण पाकर अपने देश को सशक्त बनाएं। इसके लिए सालों भर जागरूकता अभियान चलाने की जरूरत है । सीमांचल जैसे क्षेत्र में तो इसकी बेहद जरूरत है ।

  

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